सूक्तिस्तबक: Class 6 Sanskrit Chapter 8 Hindi Translation – रुचिरा NCERT Solution

Class 6
Subject संस्कृत
Book NCERT

NCERT Solution of Class 6th Sanskrit Ruchira /  रुचिरा  Chapter 8 सूक्तिस्तबक: / sooktistabak Vyakhya / व्याख्या /  meaning in hindi / translation in hindi Solution.

सूक्तिस्तबक: Class 6 Sanskrit Chapter 8 Translation in Hindi – English


उद्यमेन हि सिध्यन्ति कार्याणि न मनोरथैः ।

न हि सुप्तस्य सिंहस्य प्रविशन्ति मुखे मृगाः ।।1।।

अन्वय: – हि कार्याणि उद्यमेन सिध्यन्ति, मनोरथैः न (सिध्यन्ति) । (यथा) हि सुप्तस्य सिंहस्य मुखे मृगाः न प्रविशन्ति ।

शब्दार्थ – उद्यमेन – मेहनत से। हि – निश्चित रूप से। सिध्यन्ति – सफल होते हैं। कार्याणि – कार्य। न – नहीं। मनोरथैः – इच्छा से। न – नहीं। हि – निश्चित रूप से। सुप्तस्य – सोए हुए। सिंहस्य – शेर के। प्रविशन्ति – प्रवेश करते हैं। मुखे – मुंह में। मृगाः – हिरण।

Translation in Hindi – निश्चित रूप से कार्य परिश्रम से सफल होते हैं, इच्छा से नहीं। जैसे सोए हुए शेर के मुंह में हिरण प्रवेश नहीं करते। ( अर्थात शेर को भी उनका शिकार करना ही पड़ता है।)

Translation in EnglishCertainly, work succeeds by hard work, not by desire. Like deer do not enter the mouth of a sleeping lion. (That is, the lion also has to hunt them.)


पुस्तके पठितः पाठः जीवने नैव साधितः ।

किं भवेत् तेन पाठेन जीवने यो न सार्थकः ।।2।।

अन्वय: – पुस्तके पठितः पाठः (यदि) जीवने न साधितः । (तर्हि) यो (पाठः) जीवने न सार्थकः, तेन पाठेन किं भवेत् ?

शब्दार्थ – पुस्तके – पुस्तको में। पठितः – पढ़ा हुआ। पाठः – पाठ / ज्ञान। जीवने – जीवन में। नैव – न हीं। साधितः – उपयोग में लाया गया। किं – क्या। भवेत् – होगा। तेन – उस। पाठेन – पाठ से / ज्ञान से। जीवने – जीवन में। यो – जो। न – नहीं। सार्थकः – उपयोगी।

Translation in Hindi – पुस्तकों में पढ़ा हुआ ज्ञान यदि जीवन में उपयोग में नहीं लाया गया तो जो पाठ जीवन में उपयोगी नहीं है उस पाठ से क्या होगा अर्थात पुस्तकों से पढ़ा हुआ ज्ञान जीवन में उपयोग करने से ही उसका फायदा है बिना उपयोग करने से उसका कोई लाभ नहीं होता।

Translation in English – If the knowledge read in books is not used in life, then what will happen to that lesson which is not useful in life, that is, the knowledge read from books is beneficial only by using it in life. .


प्रियवाक्यप्रदानेन सर्वे तुष्यन्ति जन्तवः ।

तस्मात् प्रियं हि वक्तव्यं वचने का दरिद्रता ।।3।।

अन्वय: – सर्वे मानवाः प्रियवाक्यप्रदानेन तुष्यन्ति । तस्मात् (अस्माभिः) प्रियं हे वक्तव्यम्, वचने का दरिद्रता (अस्ति) ?

शब्दार्थ – प्रियवाक्यप्रदानेन – मधुर वाक्य बोलने से। सर्वे – सभी। तुष्यन्ति – प्रसन्न होते हैं। जन्तवः – मानव / जंतु। तस्मात् – इस कारण से। प्रियं – प्यारे / मधुर। हि – निश्चित रूप से। वक्तव्यं – बोलनी चाहिए। वचने – बोलने में। का – क्या। दरिद्रता – गरीबी।

Translation in Hindi – मधुर वाक्य बोलने से सभी मनुष्य प्रसन्न होते हैं। इस कारण से हमें मधुर वाक्य ही बोलने चाहिए, बोलने में क्या गरीबी?

Translation in English – All human beings are pleased by speaking sweet words. For this reason we should speak sweet sentences, what poverty in speaking?


गच्छन् पिपीलको याति योजनानां शतान्यपि।

अगच्छन् वैनतेयोऽपि पदमेकं न गच्छति ।।4।।

अन्वय: – गच्छन् पिपीलकः अपि शतानि योजनानां याति । (परं) अगच्छन् वैनतेयः पदमेकम् अपि न गच्छति।

शब्दार्थ – गच्छन् – चलती हुई। पिपीलको – नर चींटी। याति – जाता है। योजनानां – कोशो। शतान्यपि – सैकड़ों भी। अगच्छन् – न चलता हुआ। वैनतेयोऽपि – गरुड़ भी। पदमेकं – एक कदम भी। न – नहीं। गच्छति – जाता।

Translation in Hindi – चलती हुई नर चींटी भी सैकड़ों कोर्स चली जाती है। परंतु न चलता हुआ गरुड़ एक कदम भी नहीं जा पाता। ( अत: सदा आगे बढ़ते रहना चाहिए )

Translation in English – A moving male ant also moves hundreds of coases. But the unmoving Garuda could not move even a single step. (So ​​keep moving forward)


काकः कृष्णः पिकः कृष्णः को भेदः पिककाकयोः।

वसन्तसमये प्राप्ते काकः काकः पिक: पिकः ।।5।।

अन्वय: – काकः कृष्णः, पिकः (अपि) कृष्णः (भवति), पिककाकयोः कः भेदः? वसन्तसमये प्राप्ते काकः काकः (भवति), पिक: पिकः (भवति ) ।

शब्दार्थ – काकः – कौवा। कृष्णः – काला। पिकः – कोयल। कृष्णः – काली। को – क्या। भेदः – भेद होता है। पिककाकयोः – कोयल और कौवे में। वसन्तसमये – वसंत ऋतु के समय। प्राप्ते – प्राप्त होने पर। काकः – कौवा। काकः – कौवा होता है। पिक: – कोयल। पिकः – कोयल होती है।

Translation in Hindi – कौवा भी काला होता है और कोयल भी काली होती है। तो फिर कोयल और कौवे में क्या भेद होता है? वसंत ऋतु का समय आने पर कौवा तो कौवा  होता है और कोयल कोयल ही होती है। ( अर्थात वसंत ऋतु में कोयल के चहचाने की आवाज मधुर होती है जिससे उनके बीच के भेद का पता लग पाता है।)

Translation in English – The crow is also black and the cuckoo is also black. Then what is the difference between a cuckoo and a crow? When the time of spring comes, a crow is a crow and a cuckoo is a cuckoo. (That is, in the spring, the cuckoo’s chirping sound is sweet, due to which the difference between them can be detected.)


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